एथेंस: तुर्की और ग्रीस (Turkey Greece Tension) में एक बार फिर टेंशन बढ़ने लगी है। दोनों देश के बीच भूमध्य सागर में द्वीपों पर कब्जे को लेकर विवाद (Why did Greece invade Turkey) है। इस बीच तुर्की के एफ-16 लड़ाकू विमानों (Turkish Air Force Aircraft) ने ग्रीस के हवाई क्षेत्र के नजदीक उड़ान भरी है। जिसके बाद ग्रीस ने अपने एयर डिफेंस सिस्टम को हाई अलर्ट पर कर दिया है। बताया जा रहा है कि एजियन सागर में ग्रीक द्वीपों के पास तुर्की के लड़ाकू विमानों ने दर्जनों बार उड़ान भरी है। जिसके बाद ग्रीस के रक्षा मंत्रालय ने अपनी सेना को एयर डिफेंस मिसाइलों को एक्टिवेट कर किसी भी संभावित घुसपैठ को रोकने के आदेश दिए हैं।
ग्रीस ने एयर डिफेंस सिस्टम की तैनाती के आदेश दिए : ग्रीक न्यूज वेबसाइट Newsit.gr ने रक्षा मंत्रालय का हवाला देते हुए बताया कि ग्रीक नेशनल डिफेंस के जनरल स्टाफ ने एजियन सागर के पूर्वी भाग में द्वीपों पर वायु रक्षा प्रणालियों को एक्टिवेट करने का निर्णय लिया है। रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि इन द्वीपों पर पहले से मौजूद एयर डिफेंस सिस्टम्स के अलावा बाकी दूसरे सिस्टम्स को भी दूसरे हिस्सों से लाकर तैनात किया जाएगा। उन्हें देश की हवाई सीमा की रक्षा का काम सौंपा जाएगा और अगर जरूरत पड़ी तो रडार पर दिखाई देने वाले लक्ष्यों को लॉक कर निशाना भी बनाया जाएगा।
घुसपैठियों को मार गिराने का आदेश : जनरल स्टाफ ने बुधवार को ही कहा कि तुर्की के लड़ाकू विमानों ने ग्रीक हवाई क्षेत्र का 168 उल्लंघन किया। इसके बाद ग्रीस के लड़ाकू विमानों को उल्लंघन करने वालों को अपने हवाई क्षेत्र से बाहर खदेड़ने के लिए उड़ान भरनी पड़ी थी। ग्रीक विदेश मंत्रालय ने गुरुवार को तुर्की सैन्य विमानों के घुसपैठ की कड़ी निंदा की थी। ग्रीस ने इस घुसपैठ के बारे में यूरोपीय संघ, नाटो, संयुक्त राष्ट्र, अंतर्राष्ट्रीय नागरिक उड्डयन संगठन के साथ ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के सदस्य देशों के अधिकारियों को सूचित किया।
ग्रीक पीएम ने नाटो चीफ से की तुर्की की शिकायत : उधर, फिनलैंड की प्रधानमंत्री सना मारिन के साथ बातचीत के बाद गुरुवार को ग्रीक प्रधानमंत्री क्यारीकोस मित्सोटाकिस ने कहा कि उन्होंने हाल ही में नाटो के महासचिव जेन्स स्टोलटेनबर्ग के साथ फोन पर तुर्की के वायु सेना के उत्तेजक और आक्रामक व्यवहार को लेकर बात की। उन्होंने बताया कि तुर्की के लड़ाकू विमानों ने खतरनाक ढंग से लेमनोस, चियोस, कारपाथोस और अन्य यूनानी द्वीपों के ऊपर से उड़ान भरी थी। उन्होंने कहा कि नाटो सहयोगी के लिए व्यवहार अस्वीकार्य था और इसे रोका जाना चाहिए।
तुर्की और ग्रीस में तनाव का कारण क्या है : तुर्की और ग्रीस के बीच विवाद की जड़ पूर्वी भूमध्यसागर क्षेत्र में साढ़े तीन ट्रिलियन क्यूबिक मीटर (टीसीएम) गैस है। इनमें से 2.3 टीसीएम इजिप्ट, इजरायल और साइप्रस के इकनॉमिक इंट्रेस्ट जोन में आते हैं। 2020 में भूमध्य सागर में तेल और गैस की खोज को लेकर तुर्की और ग्रीस आमने-सामने आ गए थे। तब तुर्की का समुद्री तेल खोजी शिप ओरुक रीस ग्रीस के द्वीप कस्तेलोरिज़ो के नजदीक पहुंच गया था। तुर्की ने ग्रीस के विरोध के बावजूद अपने खोज अभियान को जारी रखा था, लेकिन फ्रांस के हस्तक्षेप और सेना तैनात करने की धमकी के बाद तुर्की को पीछे हटना पड़ा था।
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