ऑस्ट्रेलियाई ने एक बार फिर साबित कर दिया कि वह बड़े मैचों के मास्टर हैं। टी-20 वर्ल्ड कप-2021 के खिताबी मुकाबले में ऑस्ट्रेलिया ने रिकॉर्ड 172 रन बनाने वाली न्यूजीलैंड को 7 गेंद शेष रहते 8 विकेट से हरा दिया। इस तरह टी-20 वर्ल्ड कप को नया चैंपियन मिल गया है, जबकि न्यूजीलैंड ने पिछले 6 वर्षों में तीसरी बार ICC टूर्नामेंट के खिताबी मुकाबले में मात खाई है। इससे पहले वनडे वर्ल्ड कप-2015 में ऑस्ट्रेलिया और वनडे वर्ल्ड कप-2019 में इंग्लैंड ने उसे फाइनल में हराया था।
रिकॉर्ड 173 रनों का पीछा करने उतरी ऑस्ट्रेलिया टीम को आरोन फिंच (5) के रूप में शुरुआती झटका जरूर लगा, लेकिन इसके बाद डेविड वॉर्नर और मिशेल मार्श ने कीवी गेंदबाजों की जमकर खबर ली और मुकाबला एकतरफा कर दिया। बड़े मैचों के खिलाड़ी माने जाने वाले वॉर्नर ने 38 गेंदों में 4 चौके और 3 छक्के उड़ाते हुए 53 रन ठोके, जबकि मिशेल मार्श ने 50 गेंदों में 6 चौके और 4 छक्के ठोकते हुए 77 रन की पारी खेलते हुए ऑस्ट्रेलिया की जीत मुकम्मल की।
कब किसने जीता खिताब
2007: भारत
2009: पाकिस्तान
2010: इंग्लैंड
2012: वेस्टइंडीज
2014: श्रीलंका
2016: वेस्टइंडीज
2021: ऑस्ट्रेलिया
मार्श और वॉर्नर की पारियां विलियमसन की बल्लेबाजी पर भारी पड़ गई। मार्श ने अपनी पारी में छह चौके और चार छक्के लगाए जिनमें से ईश सोढी को जड़े दो छक्के शानदार रहे। टी20 विश्व कप टीम में अपने चयन को लेकर हुई आलोचना का उन्होंने अब तक के करियर की सबसे यादगार पारी खेलकर जवाब दिया। वहीं टी20 क्रिकेट को ताबड़तोड़ प्रारूप के महारथियों का खेल मानने वालों की धारणा भी ऑस्ट्रेलिया ने तोड़ी दी जिसने पांच टेस्ट विशेषज्ञों तेज गेंदबाज पैट कमिंस, मिशेल स्टार्क, जोश हेजलवुड और बल्लेबाज वॉर्नर तथा स्टीव स्मिथ को टीम में शामिल किया था।
इसी मैदान पर आईपीएल की एक टीम द्वारा अपमानित हुए वॉर्नर ने इस जीत में अहम भूमिका निभाई। आईपीएल में वॉर्नर की कप्तानी छीनी गई और उन्हें आखिरी मैचों में टीम में जगह भी नहीं दी गई थी। उन्होंने टी20 प्रारूप में ही सबसे बड़े मंच पर यादगार पारी खेलकर आलोचकों का मुंह बंद किया। वहीं पहले बल्लेबाजी के लिए भेजी गई न्यूजीलैंड टीम पहले दस ओवर में रन बनाने के लिए जूझती नजर आई। मार्टिन गप्टिल ने 35 गेंद में 28 रन बनाए। इसके बाद विलियमसन ने 48 गेंद में 10 चौकों और तीन छक्कों की मदद से 85 रन बनाकर पारी का नक्शा बदल दिया।
न्यूजीलैंड ने आखिरी दस ओवरों में 115 रन बनाकर फाइनल मुकाबले को रोमांचक बनाने की नींव रख दी। अक्सर अपनी टीम के संकटमोचक साबित होने वाले विलियमसन ने बेहद खूबसूरती से बल्लेबाजी करते हुए पहली 16 गेंद में 15 रन बनाए। उस समय एडम जंम्पा किफायती गेंदबाजी कर रहे थे और गप्टिल फॉर्म में नहीं थे। एक बार लय पकड़ने के बाद विलियमसन ने खुलकर खेला और अगली 32 गेंद में 70 रन बनाए।
विलियमसन टी20 विश्व कप फाइनल में सर्वोच्च स्कोर बनाने वाले कप्तान बन गए जिन्होंने श्रीलंका के कुमार संगकारा को पछाड़ा। उन्होंने 11वें ओवर में मिशेल स्टार्क को 19 रन जड़कर दबाव कम किया। इसी ओवर में जोश हेजलवुड ने उनका कैच भी छोड़ा। स्टार्क आज काफी महंगे साबित हुए जिन्होंने चार ओवर में 60 रन दिय। स्टार्क का दूसरा ओवर जहां खराब रहा तो तीसरा ओवर और भी बदतर था जिसमें न्यूजीलैंड के बल्लेबाजों ने चार चौकों और एक छक्के के साथ 24 रन ले डाले।
दूसरी ओर हेजलवुड ने चार ओवर में 16 रन देकर तीन विकेट लिए जबकि जंम्पा ने चार ओवर में 24 रन देकर एक विकेट चटकाया। न्यूजीलैंड की पारी कप्तान विलियमसन के नाम रही जिन्होंने साबित कर दिया कि उन्हें आधुनिक क्रिकेट के महान बल्लेबाजों में क्यो शुमार किया जाता है। हर प्रारूप में तकनीकी कौशल के साथ संयम बनाए रखकर खेलना उनकी खूबी है और सबसे बड़ी बात यह है कि जरूरत के समय वह हमेशा फॉर्म में होते हैं।