क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू ने खेल को भले ही अलविदा कह दिया हो लेकिन सियासी पिच पर उन्हें समझना पार्टी आलाकमान के लिए भी मुश्किल हो रहा है। मंगलवार को सिद्धू ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद से इस्तीफे के बाद पंजाब में पार्टी के सामने फिर से नया सियासी संकट खड़ा हो गया है। पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी को लिखे पत्र में सिद्धू ने साफ लफ्जों में लिखा कि वह पंजाब के भविष्य के साथ कोई समझौता नहीं करना चाहते। दरअसल सिद्धू पंजाब की नई सरकार के गठन में हुए कुछ फैसलों को लेकर नाराज बताए जा रहे हैं।
रंधावा को गृहमंत्री बनाने से नाराज हैं सिद्धू? : कांग्रेस सूत्रों की माने तो पंजाब में नई कैबिनेट के सदस्यों को विभागों के आवंटन के तुरंत बाद ही सिद्धू ने पद छोड़ दिया। पार्टी हलकों में इसकी वजह नए मुख्यमंत्री की ओर से उपमुख्यमंत्री सुखजिंदर सिंह रंधावा को गृह विभाग आवंटित किया जाना है। दरअसल ऐसा इस कारण कहा जा रहा है क्योंकि इससे पहले सिद्धू ने मुख्यमंत्री के रूप में रंधावा की नियुक्ति का विरोध किया था। इसके बाद कांग्रेस आलाकमान ने चन्नी को मुख्यमंत्री बनाया था। पंजाब सीएम चन्नी ने नए कार्यवाहक पुलिस प्रमुख और राज्य के महाधिवक्ता की नियुक्ति पर भी उनकी नाराजगी को नजर अंदाज कर दिया।
समर्थन में होने लगे धड़ाधड़ इस्तीफे : सिद्धू के इस्तीफे के कुछ ही घंटे बाद चरणजीत सिंह चन्नी के नेतृत्व में 18 सदस्यीय नये मंत्रिमंडल में शामिल रजिया सुल्ताना ने भी पूर्व क्रिकेटर के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए अपना इस्तीफा दे दिया। पंजाब काग्रेस कमिटी के कोषाध्यक्ष गुलजार इंदर चहल ने भी पद छोड़ दिया। इसके बाद परगट सिंह ने भी इस्तीफा देकर कांग्रेस सरकार को झटका दिया। परगट नई सरकार में शिक्षा मंत्री बनाए गए थे। इसके बाद शाम को पंजाब कांग्रेस के महासचिव पद से योगिंदर ढींगरा के इस्तीफे की खबर भी आई। रात करीब साढ़े 8 बजे पंजाब कांग्रेस के महासचिव (प्रभारी प्रशिक्षण) गौतम सेठ ने भी पद छोड़ दिया।
जल्द सुलझा लेंगे मुद्दा, बोले सीएम चन्नी : इससे पहले सीएम चरणजीत सिंह चन्नी ने सिद्धू के इस्तीफे की जानकारी नहीं होने की बात कही थी। चन्नी का कहना था कि यदि कोई मसला है तो हम लोग सिद्धू साहब के साथ बैठकर बातचीत के जरिए सुलझा लेंगे। वहीं, कांग्रेस विधायक बावा हेनरी ने मंगलवार को कहा कि नवजोत सिंह सिद्धू का इस्तीफा (पंजाब कांग्रेस प्रमुख के रूप में) स्वीकार नहीं किया गया है, जल्द ही मामले को सुलझा लिया जाएगा। 3-4 मुद्दे हैं, पार्टी फोरम में उनकी चर्चा हो रही है, आलाकमान उनका समाधान करेगा।
दिल्ली पहुंचे कैप्टन, कहा- सामान लेने आया हूं : पंजाब के कांग्रेस के दिग्गज नेता और क्षत्रप कैप्टन अमरिंदर सिंह मंगलवार को दिल्ली पहुंचे। इस बात की अटकलें थी कि वह बीजेपी का दामन थाम सकते हैं। हालांकि, कैप्टन ने इस पूरे मसले पर तस्वीर साफ कर दी। कैप्टन ने कहा कि मैं किसी भी नेता से मुलाकात नहीं करूंगा। एयरपोर्ट से मैं घर (कपूरथला हाउस) जाउंगा। सामान इक्ट्ठा करूंगा और पंजाब वापस चला जाऊंगा।
सिद्धू के इस्तीफे पर फिर किया हमला : मंगलवार सुबह सिद्धू के इस्तीफे की खबर पर कैप्टन अमरिंदर सिंह ने एक बार फिर से निशाना साधा। कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि मैंने आपसे कहा था… वह स्थिर व्यक्ति नहीं है और सीमावर्ती राज्य पंजाब के लिए वह उपयुक्त नहीं है। अमरिंदर सिंह ने सिद्धू को ‘खतरनाक’ और ‘राष्ट्र-विरोधी’ बताया था। सिद्धू का इस्तीफा अचानक उस दिन हुआ जब अमरिंदर सिंह दिल्ली के लिए रवाना हुए।
मनीष तिवारी ने गीत के जरिये कसा तंज : कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष तिवारी ने भी गीत के जरिये सिद्धू पर तंज कसा। वहीं, कैप्टन के सलाहकार रवीन ठुकराल ने भी ट्वीट कर कहा जिसकी फितरत है डसना वो तो डसेगा।
सिद्धू से इस्तीफा वापस लेने की अपील : कांग्रेस विधायक सुखपाल सिंह खैरा ने सिद्धू से इस्तीफा वापस लेने की अपील की है। मीडिया से बातचीत में खैरा ने कहा- ‘नवजोत सिंह सिद्धू ने पंजाब में भ्रष्टाचार के खिलाफ स्टैंड लिया था। अगर उनके सुझावों पर ध्यान नहीं दिया गया, तो वह एक गूंगा पार्टी अध्यक्ष नहीं बनना चाहेंगे। हम उनसे इस्तीफा वापस लेने और उनकी शिकायतें दूर करने के लिए आलाकमान से अनुरोध करते हैं।