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September 21, 2024
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भारत और रूस के बीच रुपया-रूबल डील को लेकर बैकफुट पर अमेरिका

भारत और रूस (India Russia Relations) के बीच हुई रुपया-रूबल डील (Rupee Ruble System) को लेकर अमेरिका टेंशन में है। भारत ने रूस से पेट्रोल-डीजल और गैस की खरीदारी के लिए एक डील साइन की है। लेकिन, रूस के ऊपर लगे आर्थिक प्रतिबंधों (US Sanctions on Russia) के कारण भारत चाहकर भी डॉलर में भुगतान नहीं कर सकता है। जिसकी तोड़ निकालते हुए दोनों देशों ने एक दूसरे की मुद्रा में भुगतान करने का फैसला किया है। अब अमेरिका को डर है कि रुपया-रूबल डील (Rupee Ruble Deal) से रूस के ऊपर लगे प्रतिबंध कमजोर पड़ सकते हैं और राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ऐसी ही डील दूसरे देशों के साथ भी कर सकते हैं। बस इसी बात को लेकर अमेरिका लगातार भारत को चेतावनी दे रहा है।
रूस की आक्रामकता रोकने में मदद की मांग की : अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा है कि भारत को रूस के साथ अपने संबंधों का उपयोग यूक्रेन के खिलाफ आक्रामकता को रोकने के लिए करना चाहिए। अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता नेड प्राइस ने कहा कि कई देश रूसी संघ के साथ अपने संबंधों की दुहाई दे रहे हैं। नेड प्राइस ने कहा, ‘हम चाहते हैं कि अन्याय, उकसावा, पहले से नियोजित, हिंसा की इंतहा के खिलाफ भारत जैसे देशों समेत सभी को इसे खत्म करने के लिए आगे आना चाहिए। हालांकि भारत अलग-अलग साझेदारों के साथ जो बातचीत कर रहा है उससे दुनिया के में थोड़ी असहजता है।
बिना नाम लिए अनैतिक तरीके से काम करने का आरोप लगाया : भारत-रूस संबंधों को लेकर अमेरिकी अधिकारियों के आक्रामक व्यवहार की यह सिर्फ एक झलक है। अमेरिका लगातार चाह रहा है कि भारत किसी भी तरह का संबंध रूस के साथ न रखे। इतना ही नहीं, भविष्य में भी दोनों देशों के बीच रिश्ते सामान्य नहीं हों। प्राइस ने यह भी कहा कि कई ऐसे भी देश हैं जो रूसी संघ के साथ अपने लंबे समय से चले आ रहे संबंधों के कारण बहुत अधिक लाभ उठाने के लिए अनैतिक तरीके अपना रहे हैं।
सर्गेई लावरोव की भारत यात्रा से चिढ़ा है अमेरिका : अमेरिकी विदेश मंत्रालय के इस बयान को रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव के भारत दौरे से जोड़कर देखा जा रहा है। लावरोव ने नई दिल्ली में भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की थी। इस दौरान उन्होंने मीडिया के सामने खुलकर कहा था कि रूस किसी भी समय भारत को कुछ भी देने को तैयार है। उन्होंने रूस-यूक्रेन के बीच जारी लड़ाई को युद्ध कहने से इनकार करते हुए एक स्पेशल ऑपरेशन करार दिया। इस बातचीत के दौरान भारत ने रूस से तुरंत हमला रोकने और कूटनीतिक माध्यमों के जरिए विवादों का समाधान करने को कहा। लावरोव ने भी पीएम मोदी के साथ मुलाकात के दौरान ताजा हालात की जानकारी दी।

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